अर्बन मिरर समवाददाता
लखनऊ, 2 अक्टूबर: लोक गथबंधन पार्टी (एलजीपी) ने आज कहा कि महात्मा गांधी का स्वच्छ भारत का सपना दशकों से चली आ रही भ्रष्ट राजनीतिक व्यवस्था के भेंट चढ़ गया क्योंकि लगातार सभी राजनीतिक दलों ने बापू के आदर्शों की लगातार अवहेलना की है । एलजीपी ने कहा कि एनडीए सरकार “स्वच्छ भारत ” के बारे में लंबे दावे कर रही है लेकिन भ्रष्टाचार से सिस्टम को शुद्ध करने के लिए राजनीतिक इच्छाशक्ति की अनुपस्थिति में, यह अभ्यास भ्रामक है।
पार्टी के प्रवक्ता ने मंगलवार को ईमानदारी, पारदर्शिता और स्वच्छ शासन की कमी पर कहा कि स्वच्छ पर्यावरण का पूरा अभ्यास हवा हवाई है। प्रवक्ता ने कहा कि एनडीए सरकार का बहु प्रचारित “स्वच्छ भारत” ड्राइव इस परियोजना पर खर्च किए जा रहे धन में बड़े पैमाने पर सीपेज के कारण सकारात्मक नतीजे पैदा करने में असफल रहा है। प्रवक्ता ने कहा कि पूरा अभ्यास नेताओं के प्रचार के लिए राजनीतिक स्टंट और फोटो खिचवाने का अवसर मात्र बन गया है।
प्रवक्ता ने कहा कि केवल स्वच्छ शासन हाई स्वच्छ वातावरण की योजना की सफलता सुनिश्चित कर सकता है। असंख्य कार्यक्रमों में भारी धन का व्यय , बहुआयामी योजनाएं, उन्हें लागू करने के लिए बड़े विभाग, इसके बावजूद भी विकास की सबसे बुनियादी बातों को भी सरकार लागू नहीं कर पाई है। प्रवक्ता ने कहा कि स्वच्छता, पीने योग्य पानी, सीवरेज की आपूर्ति, की तो वीआईपी शहरों में भी कमी है। प्रवक्ता ने कहा कि “स्वच्छ भारत” अकेले नारों से नहीं आएगा, क्योंकि इसके लिए ईमानदार और प्रतिबद्ध शासन की आवश्यकता है। इन प्रयासों को नैतिक साहस से परिपूर्ण होना चाहिए ।प्रवक्ता ने कहा कि नैतिकता आज शासन में अनुपस्थित है।
प्रवक्ता ने कहा कि गरीब लोगों को शहरी पुनर्जागरण – एक स्मार्ट सिटी, स्वच्छ पेयजल, स्वच्छता, शौचालय, बुनियादी ढांचे इत्यादि जैसी सुविधाओं को मुहैया किए जाने जैसे वादों के साथ लगातार फुसलाया जाता है, लेकिन झूठी प्रतिज्ञाओं, नकली वादों, बेईमान प्रशासन और भ्रामक कार्यप्रणाली के चलते स्थिति में कोई सुधार नहीं आने वाला है ।प्रवक्ता ने लोगों को भारत के पूर्व सचिव विजय विजय शंकर पांडे के नेतृत्व में एलजीपी आंदोलन में शामिल होने के
का आहवाहन किया ताकि राजनीति और शासन को व्यापक भ्रष्टाचार, आधिकारिक लूट और झूठे वादों के मकड़जाल से मुक्त किया जा सके।